Jdnews Vision……..
लखनऊ : : कृषि विभाग द्वारा संचालित सब मिशन आन एग्रीकल्चरल मैकेनाइजेशन व फसल अवशेष प्रबंधन योजना के तहत कृषि यंत्रों पर किसानों को अनुदान दिया जा रहा है। यह अनुदान कृषि रक्षा उपकरण, कृषि ड्रोन, फसल अवशेष प्रबंधन के कृषि यंत्र, कस्टम हायरिंग सेंटर, हाईटेक हब फार कस्टम हायरिंग व फार्म मशीनरी बैंक की स्थापना के लिए दिया जा रहा है।
किसान व संस्थाएं सब्सिडी पर कृषि उपकरण प्राप्त करने के लिए 20 दिसंबर तक आवेदन कर सकेंगे।
अनुदान पर कृषि यंत्र पाने के लिए कुछ शर्ते भी निर्धारित की गई हैं। 10 हजार से अधिक अनुदान वाले कृषि यंत्रों के आवेदन के लिए एक वित्तीय वर्ष में किन्हीं दो यंत्रों के लिए ही अनुदान मान्य होगा। कृषि यंत्रों पर मूल्य का अधिकतम 50 प्रतिशत तक अनुदान दिया जाएगा, वहीं फार्म मशीनरी बैंक परियोजना के तहत 10 लाख लागत व कस्टम हायरिंग सेंटर (इन-सीटू योजना) परियोजना (लागत 30 लाख) पर अधिकतम 80 प्रतिशत अनुदान की व्यवस्था है।
कृषि ड्रोन व सहायक उपकरण के लिए कृषि स्नातक (एग्री जंक्शन) व ग्रामीण उद्यमी को कृषि ड्रोन व उनके सहायक उपकरण की खरीद पर यंत्रों के मूल्य का 50 फीसदी व अधिकतम पांच लाख (जो भी कम हो), देय होगा। एफपीओ को कृषि ड्रोन व उनके सहायक उपकरण के क्रय करने पर यंत्रों के मूल्य का 40 फीसदी या अधिकतम चार लाख (जो भी कम हो), देय होगा।
कहां करें आवेदन?
10 हजार से एक लाख तक अनुदान के कृषि यंत्रों के लिए बुकिंग के लिए धनराशि 2500 रुपये होगी, जबकि एक लाख से अधिक अनुदान के कृषि यंत्रों के लिए यह राशि पांच हजार रुपये होगी। कृषि यंत्रों पर अनुदान प्राप्त करने के लिए आनलाइन आवेदन (www.agriculture.up.gov.in) करना होगा। कृषि ड्रोन (सब मिशन ऑन एग्रीकल्चर मैकेनाइजेशन) एवं कस्टम हायरिंग सेंटर की बुकिंग-आवेदन कृषि विभाग के दर्शन पोर्टल की वेबसाइट (https://agridarshan.up.gov.in) पर बुकिंग करनी होगी।